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Showing posts from July, 2018

-ब्रायन ट्रेसी के मोटिवेशनल कोट्स

ब्रायन ट्रेसी का जन्म 5 जनवरी 1944 एक कनाडाई-अमरीकन आत्म-विस्वास और प्रेरक सार्वजानिक वक्ता और लेखक है वह सत्तर से अधिक पुष्तकों के लेखक हैं ,जिनका दर्जनों भाषाओँ में अनुवाद किया गया है। उनकी लोकप्रिय पुस्तकें ,अर्न व्हाट यू आर रियली ,इट दैट फ्रॉग! और द साइकोलॉजी ऑफ़ अचीवमेंट है आइये इनके मोटिवेशनल विचारों को जानते हैं।-ब्रायन ट्रेसी के  मोटिवेशनल कोट्स 1 जिंदगी में कॉम्बिनेशन लॉक जैसी जैसी होती है ,बस इसमें अंक ज्यादा होते हैं। अगर आप सही क्रम में सही नंबर घुमाएंगे तो ताला खुल जायेगा। ब्रायन ट्रेसी मैंने पाया है की भाग्य की भविष्यवाणी की जा सकती है। यदि आप अधिक भाग्य चाहते हैं ,तो ज्यादा जोखिम लें। ज्यादा सक्रीय बनें। ज्यादा बार नजर में आएं। ब्रायन ट्रेसी यहाँ नौकरी के क्षेत्र में सफलता पाने का तीन हिस्सों का सरल फार्मूला बताया जा रहा है : थोड़ी जल्दी आएं ,थोड़ी ज्यादा मेहनत से काम करें और थोड़ी ज्यादा देर तक ऑफिस में रुकें। इस फॉर्मूले का पालन करने पर आप अपने प्रर्तिस्पर्धाओं से आगे निकल जाएंगे की वे आपकी बराबरी नहीं कर पाएंगे। ब्रायन ट्रेसी सेल्सप...

विज्युलाइजेशन से वजन घटाया

आप इसे विज्युलाइजेशन  दौरान जब आप अल्फा लेवल पर जाकर यह स्क्रिप्ट जो निचे दिया जा रहा है उसे आप मन में दोहराएं। विज्युलेशन बहुत ही प्रभावकारी होता है। आप विज्युलाइजेशन  सुबह या शाम में कर सकते हैं। या फिर आप सफर के दौरान भी कर सकते हैं। आज विज्युलाइजेशन वजन घटाने के लिए है। मेरे सामने आइना है। आईने में,मैं दीखता हूँ। वाह ! वाह ! वाह ! किसी कितने आश्चर्य की बात है। किसी समय  मानना था की मेरा वजन घट नहीं सकता है लेकिन आज वास्तविकता मेरे सामने है ,उपयुक्त वजन के साथ मेरा शरीर आईने में दिख रहा है। पेट ,कमर, कंधे ये सभी जितने होने चाहिए थे एक सामन्य वजन के मुताबिक ही हैं। मैं अपने पैरों के निचे वजन का कांटा देख सकता हूँ मेरा वजन उतना ही दिखाई दे रहा है जितना मेरे उम्र और आयु के हिसाब से होना चाहिए था।  वजन तोलने की मशीन में कांटा स्पष्ट दिखाई दे रहा है। ( कुछ समय के बाद ) मैं अपने काम में व्यस्त हूँ ,मेरा काम बहुत स्फूर्ति से कर रहा हूँ। शीघ्रता से और स्फूर्ति से काम करने में आनंद आ रहा है। मेरा शरीर बिलकुल नया और बिलकुल हल्का महसूस हो रहा है।...

बॉस और लॉस से छुटकारा

बॉस और लॉस  से छुटकारासच्चाई तो यह है की आदमी  अक्सर डर से जीता रहता है........ नौकरी  में बॉस का डरऔर बिज़नेस व खेती में. लॉस का डर। अगर आपने नेटवर्किंग में अपना नेटवर्क बनाया  तो राजा की तरह जिंदगी जी  सकते हैं। क्या आप स्वतंत्र जिंदगी जीना चाहते हैं। यदि हाँ ,तो यह मौका आपके लिए है। यह एक नई सदी है जब मैं बच्चा था,तो मेरे माता-पिता ने मुझे सफलता का वही फार्मूला सिखाया ,जो शायद आपको भी सिखाया गया होगा :स्कूल जाओ,मेहनत से पढ़ो और अच्छे ग्रेड लाओ,ताकि तुम्हें सुरक्षित ,ऊँची तनख्वाह तथा अन्य लाभ वाली नौकरी मिल सके - इसके बाद तुम्हारी कंपनी तुम्हारी परवाह करेगी। लेकिन यह औद्योगिक युग की सोंच थी और आजकल हम औद्योगिक युग में नहीं रहते हैं। आपकी कंपनी आपकी परवाह नहीं करेगी। सरकार आपकी परवाह नहीं करेगी। कोई आपकी परवाह नहीं करेगा। यह नई सदी है और इसके नयम बदल गए हैं। यदि आपने अपने अपनी कंपनी में तरक्की की सीढ़ी चढ़ने में बरसों लगाएं हैं ,तो क्या आपने कभी ठहर कर इस बात पर किया  है कि आपको सामने कौन सा नजारा दिखता  है ? आप पूछते हैं हैं ,कौन सा ...

बिल गेट्स

माइक्रोसॉफ्ट की कामयाबी के दो मुख्य कारण हैं : प्रथम ,हम अपने उत्पादन में नित्य परिवर्तन करते हैं। दूसरा - उत्पादन खर्च निम्न  रखते हैं। इनफार्मेशन टेक्नोलोजी को हो सके उतनी सरल आम आदमी तक पहुँचाने का काम किया है।                                                                               - बिल गेट्स। विलियम हेनरी गेट्स तीसरे ( बिल गेट्स ) का जन्म सिएटल शहर में 28 अक्टूबर 1955 में हुआ था। उनके पिता सिएटल में अटार्नी थे। उनके माता स्वर्गस्थ मेरी गेट्स स्कूल में शिक्षिका थी। बिल गेट्स ने 13 साल की उम्र में ही  कंप्यूटर की प्रोग्रामिंग करना शुरू कर दिया था। 18 साल की उम्र उन्होंने हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में प्रवेश लिया था जहाँ उनकी मुलाकात माइक्रोसॉफ्ट के  C.E.O. स्टीव बाल्मेर से  हुई थी। जब वे १८ साल के उम्र में अंडर ग्रेजुएट विद्यार्थी के तौर पर पड़ते थे तब उन्हों...

तरुणसागर जी कथा

कुछ लोग कहते हैं की तरुणसागर जी कथा में हंसाते हैं। मैं कहता हूँ अरे बाबा ! यह सत्संग हंसने के लिए है ? प्रवचन सुनने के बाद रोना आना चाहिए की अब तक का मेरा जीवन यूँ ही खाने-पिने और सोने में चला गया। कथा को सिर्फ सुनना नहीं बल्कि गुनना भी है। और फिर मैं कथा कहाँ ,मैं जीवन की व्यथा सुनाता हूँ। जिस घर को तुमने खून-पसीना एक करके बनवाया है। तुम देखना एक दिन डंडा और कण्डा के साथ घर से बेघर कर दिए जाओगे। मुझे तरुण सागर का निवेदन सिर्फ इतना है की डंडा और कण्डा के साथ घर से बाहर निकाले जाओ या फिर पिच्छी-कमण्डलधारी की सेवा में लग जाओ। कहिये !क्या ख्याल है ? जिंदगी में बदलाव जरुरी है। सिर्फ दो लोग हैं जो कभी नहीं बदलते-एक तो मुर्ख और दूसरा मुर्दा। अगर आप कहते हैं की आप जहाँ हैं वहां तो कोई नहीं पहुँच सकता है तो इसका अर्थ हुआ की आप प्रमोशन नहीं चाहते। सीडी और सड़क बैठने के लिए नहीं होती। इन पर चलते रहना जरुरी है। बदलाव का यह मतलब गतिशीलता। पानी ठहर जाये तो गन्दा हो जाता है। जीवन अगर ठहर जाए तो धुंधला हो जाता है। गाय दूध देती नहीं है ,दूध निकलना पड़ता है। जीवन में महान कार्य स्वतः ही...

कृतग्यता

आप अपने जीवन के निर्माता हैं और कृतग्यता ही वह साधन है जिससे अविश्वसनीय जीवन का निर्माण किया जा सकता है। इन जादुई अभ्यासों के माध्यम से आपने अब एक बुनियाद बना ली है तथा कृतग्यता के सहारे आप अपने जीवन की ईमारत में और अधिक मंजिलें जोड़ रहें हैं। आपका जीवन और ऊँचा उठता चला जायेगा ,जब तक की आप सितारों को छूने लगेंगे। कृतग्यता के साथ आप अपनी ऊंचाइयों तक उठ सकते हैं ,इसका कोई छोर नहीं है। न ही उस जादू की सीमा है ,जिसका आप अनुभव कर सकते हैं। न ही जादू की कोई सीमा है ,जिसे आप अनुभव कर सकगते हैं। ब्रह्माण्ड के तारों की तरह असीमित है ! कृतग्यता व्यक्त करना शिष्ट और सुखद होता है ,कृतग्यता के कार्य करना उदार और उदात्त है,लेकिन कृतज्ञता को जीना स्वर्ग छूने के सामान है।                                 - जोहानस ए.गेरटर।  मैंने छोटी चीजों के लिए धन्यवाद देकर शुरू किया और मैं जितनी कृतज्ञ बनी ,मेरी समृद्धि बढ़ती गई। ऐसा इसलिए क्यूंकि आप जिसपर ध्यान केंद्रित करते हैं ,उसका विस्तार होता है और ज...

एक संघर्ष भरी सच्चे हीरो की कहानी

आज के इस पोस्ट में हम बात करेंगे एक महान शख्सियत का जो की विश्व की विश्व की सर्वाधिक बिक्री होने वाली पुस्तक ए ब्रीफ हिस्ट्री ऑफ़ टाइम के लेखक हैं ,बताइये कौन ? गैलिलिओ ,न्यूटन एवं आइंस्टाइन के समकक्ष प्रतिभा का वैजानिक हैं ,उनका नाम बताइये ? उनका नाम है डॉ स्टीफन हॉकिंग। एक संघर्ष भरी सच्चे हीरो की कहानी। डॉ स्टीफन हॉकिंग का जन्म 8 जनवरी 1942 में और उनकी मृत्यु 14 मार्च 2018 में हुआ। 21 वर्ष की उम्र में ही दो मोटर न्यूरोजन डिजीज के शिकार हो गए जो की लकवे से भी खतरनाक बीमारी थी। यह रोग व्यक्ति के शारीरिक शक्ति को धीरे-धीरे कमजोर करता रहता है। सभी अंग धीरे-धीरे कमजोर होते चले जाते हैं। हॉकिंग 30  व्हील चेयर में कैद थे। वे स्पीच सिन्थेसाजिर की मदद से बोलते हैं। जिसको उनके लिए एक विशेष कंपनी ने तैयार किया था। भले ही व्हील पे हों ,अंग क्षीण हो गए थे लेकिन मानसिक शक्ति पे उनका हमेशा अधिपत्य बना रहा। हॉकिंग ने आइंस्टाइन के सापेक्षता सिद्धांत को कवान्टम सिद्धांत के साथ मिलाया एवं बताया की ब्रह्माण्ड की संरचना किस प्रकार हुई। दोस्तों ,कितने आश्चर्य की बात की जिस व्यक्ति की...

प्रत्येक दिन

आपके जीवन की फिल्मन कैसी चल रही है ?क्या आपको सेहत पैसा या संबंधों में कोई परिवर्तन करने की जरुरत है ? क्या आप इसे संपादित करना चाहते हैं ? आज ही अपनी फिल्म में मनचाहे परिवर्तन करने का दिन है,क्यूंकि आज के ही परिवर्तन कल परदे पर दिखेंगे। आज ही परवर्तन का दिन है। आप अपने जीवन की फिल्म बना रहे हैं और यह आपके हाथों में है -प्रत्येक दिन। हालाँकि सिखने को बहुत कुछ है और अध्यन करने के लिए भी बहुत कुछ है ,लेकिन जीवन का सत्य आपके आस-पास के संसार की हर चीज में है ,बसर्ते आपके पास उसे देखने वाली आँख हो। यह सिर्फ हमारा अज्ञान और बनी-बनाई मान्यताएँ हैं ,जो हमें सत्य के प्रति अँधा कर देती है। अपने भीतर प्रश्न  पूछना जारी रखें ,सीखना जारी रखें ,निश्चित मान्यताओं को छोड़ना जारी रखें और सत्य सामने प्रकट हो जायेगा। "जब आप किसी महान उद्देश्य ,किसी असाधरण योजना से प्रेरित होते हैं ,आपके सरे विचार बंधन तोड़ देते हैं ;आपका मन सीमाएं पार कर जाता है ,आपकी चेतना का हर दिशा में विस्तार  और आप खुद को एक नए ,महान और अद्भुत संसार में पाते  हैं। निष्क्रिय शक्तियाँ ,योग्यताएँ तथा प्रतिभा...

लोगों के मन की जितने की कला

कुछ लोगों में यह कला उनकी प्रकृति में होती है है ,जिसे हम कौशल्य कहते हैं जबकि कुछ लोगों ने लोगों के मन जितने की कला को अपने आप विकसित किया है।  आप ऐसे कई लोगों को जानते होंगे की मन के साफ हैं ,नीतिवान हैं ,परिश्रमी हैं ,संस्कारी हैं,बुद्धिशाली भी फिर भी हमेशा तकलीफ में ही रहते हैं,क्यूंकि उनके पास सबकुछ है लेकिन लोगों के मन जितने की कला नहीं है। यह कला सीखना अनिवार्य है  हम जंगल में रहने वाले कोई अकेले प्राणी नहीं हैं। मनुष्य होने के नाते हम सामजिक प्राणी हैं। हमारे दुःख-सुख ,सफलता विफलता सब कुछ समाज से जुड़ा हुआ है। हम जानते हैं की परिवार  समाज सब  एक-दूसरे  सहयोग  है  विकसित होते हैं।  अगर हम सभी क्षेत्रों में विकाश चाहते हैं ,तो लोगों का सहयोग पाना जरुरी है। लोगों का सहयोग पाने के लिए लोगों के मन की कला सीखना जरुरी है लोगों के मन जितने की कला के लिए निम्नलिखित बातों पे गौर करें -  किसी को भी गलत साबित करने की कोसिस ना करें।  काम की शुरुआत दोस्ती से करें।  अपनी बात को ऐसे रखें की सामने वाला को वो...

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नेटवर्क मार्केटिंग कंपनी

आज 21 वी सदी का सबसे क्रन्तिकारी तरीका है नेटवर्क मार्केटिंग है। लेकिन लोगों के मन में बहुत से सवाल होते हैं इन कंपनियों को लेकर। लेकिन मैं आपको बता देना चाहता हूँ की सच में नेटवर्क मार्केटिंग एक बहुत ही शानदार और बिज़नेस की तरह ही है जिसे आप बहुत कम इन्वेस्टमेंट के साथ शुरुआत कर सकते हैं। इस बिज़नेस की खास बात यह है की आपको जो भी चैलेंज आने वाला है पहले ही पता चल जाता है और परिणाम भी। नेटवर्क मार्केटिंग कम्पनी आज के समय की जरुरत है क्यूंकि आपको पता है जॉब की मारामारी और यदि आपका कैसे करके लग भी जाये तो बॉस जीना हराम कर देता है। तो यदि आपको समय की आजादी और पैसे की आजादी चाहिए तो आपको अपना नेटवर्क बनाना पड़ेगा। और नेटवर्क बनाने के लिए आपको सीखना पड़ेगा। चेतावनी -एक महत्वपूर्ण बात इसमें भी और बिज़नेस की तरह ट्रेनिंग की जरुरत होती है और उसके बाद भी अन्य व्यवसाय के तरह ही कोई गरंटी नहीं होती है की आप सफल हो ही जाएँ। स्कोप इन इंडिया -अगर मैं भारत में बात करें तो बहुत कम लोग नेटवर्क मार्केटिंग कंपनी में जुड़े है अगर एक सर्वे के अनुसार और एक किताब में छपे लेख के अनुसार भार...

4 BASIC STEPS

हे भगवान्  मैं नेटवर्कर नहीं बनना नहीं चाहता था। लेकिन थैंक्स गॉड मैं नेटवर्कर बन गया क्यूंकि मैं आज मेरे पास सकरात्मक विचार है ,मानशिक शांति है ,स्वास्थ्य है ,सम्मान है ,पहचान है और पैसा भी। मैंने  जितने भी नेटवर्कर को देखा है सभी सफल नेटवर्कर धन-संपत्ति को सबसे अंत में रखते हैं अपने सभी उपलब्धियों में , क्यों रखते थे मुझे शुरुआत में पता नहीं चलता था क्यूंकि मुझे तो लगता था पैसा ही सबसे मत्वपूर्ण होता है पर आज मैं जिस मुकाम पे हूँ मुझे लगता है अगर आपके पास सेल्स के बारे आपके पास उचित ज्ञान हो तो आपके लिए भी यहाँ सफलता पाना बहुत आसान हो जायेगा और आप हमारी बात से सहमत हो जायेंगे।  अगर गाना एक कला है ,नाचना एक कला है ,अभिनय एक कला है उसी तरह बेचना भी एक कला है और सभी अन्य कलाओं की तरह भी।  अगर आपने गाना सीखा नहीं क्या आप गा सकते हैं ? आपने नाचना सीखा नहीं क्या आप नाच सकते हैं तो बिना सीखे आप बेच कैसे सकते हैं ,आपको कुछ भी बेचने के लिए सीखना पड़ेगा।  अब वैसे भी नेटवर्किंग सेक्टर में सफलता पाना पहले की उपेक्षा बहुत आसान हो गया है क्यूंकि आज के समय...

मुनिश्री तरुणसागर जी के कड़वे प्रवचन

एक सेठ बीमार बीमार था। दवा खाने के बाद भी ठीक नहीं हो रहा था। आखिर वह हकीम लुकमान से मिला। लुकमान ने कुछ गोलिया दी और कहा -इन्हें तीन बार अपने माथे के पसीने में पिघलकर खा लेना। सेठ कुछ ही दिनों में ठीक हो गया। शिष्य ने कहा- गुरुदेव ! बड़ी चमत्कारी दवा है। लुकमान हँसा और बोला - दवा क्या उपलों की राख थी। पर उसे तीन बार माथे पर पसीने लेन के लिए बड़ी मेहनत  करनी पड़ी होगी। यह चमत्कार उसी पसीने का है। सच्ची नींद और स्वाद चाइये तो पसीना बहाना मत भूलना। जिंदगी में तीन चीजों का अर्जन जरूर करें। बचपन में ज्ञान का , जवानी में संपत्ति का और बुढ़ापे में पुण्य का। बचपन अध्यन के  बुढ़ापा आत्म-चिंतन के लिए है। किसी छात्र ने पूछा कितने घंटे पढ़ना चाहिए ? जिस क्लास  में हैं ,स्कूल के अलावा उतने ही घंटे ,10 वी में हों तो 10 घंटे और 12 वी  12 घंटे। अगर आप तरुणसागर का कहा मानें तो मैं आपसे एक निवेदन करना चाहूंगा की अपने मित्र,चरित्र को हमेसा रखें पवित्र क्यूंकि यही है जिंदगी का असली इत्र। आपको पता है की चरित्र के पतन में प्रायः गलत मित्रों और गलत चित्रों का हाथ होता है। गलत म...